आगरा विश्वविद्यालय: संस्कृत प्रतिभा खोज प्रतियोगिता का आयोजन
आगरा विश्वविद्यालय में हाल ही में संस्कृत प्रतिभा खोज प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इस प्रतियोगिता में 60 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया, जिसमें जिले के विभिन्न संस्कृत विद्यालयों और अन्य विद्यालयों के छात्र शामिल थे।
प्रतियोगिता का आयोजन
यह कार्यक्रम डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय स्थित केएमआई में आयोजित किया गया था। विश्वविद्यालय के निर्देशानुसार आयोजित इस प्रतियोगिता का उद्देश्य संस्कृत भाषा को बढ़ावा देना और प्रतिभाशाली छात्रों को मंच प्रदान करना था।
मुख्य अतिथि का उद्बोधन
आगरा कॉलेज की प्रोफेसर सुनीता रानी घोष मुख्य अतिथि थीं। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि संस्कृत वैदिक काल से ही जन सामान्य की भाषा रही है और आज भी हो सकती है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि संस्कृत ने कभी अपना स्वरूप नहीं बदला और यह इतनी स्थायी है कि उसे स्वयं को प्रमाणित करने की आवश्यकता नहीं है। उन्होंने पाली, प्राकृत, अपभ्रंश और हिंदी जैसी भाषाओं के विकास में संस्कृत के योगदान को भी रेखांकित किया।
हापुड़ में भी आयोजन
उत्तर प्रदेश संस्कृत संस्थान, लखनऊ द्वारा संस्कृत भाषा को बढ़ावा देने के लिए हापुड़ में भी 25 जुलाई को श्रीमती कमला अग्रवाल कन्या इंटर कॉलेज में संस्कृत प्रतिभा खोज प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा। संस्थान के जिला संयोजक आचार्य प्रदीप कुमार ने बताया कि इस प्रतियोगिता का उद्देश्य संस्कृत भाषा के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना है।
संस्कृत का महत्व
संस्कृत भारत की प्राचीनतम भाषाओं में से एक है और यह हमारी संस्कृति और विरासत का महत्वपूर्ण हिस्सा है। इस तरह की प्रतियोगिताएं छात्रों को संस्कृत भाषा के प्रति रुचि बढ़ाने और अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर प्रदान करती हैं।